1. चंद्र : यह ग्रह प्रत्येक सवा दो दिन में राशि परिवर्तन करता है।
2. सूर्य : सूर्य ग्रह 15 मार्च से मीन में गोचर करने के बाद वहां से वो 14 अप्रैल 2022, गुरुवार के दिन निकलकर अपनी उच्च राशि मेष में गोचर करेगा।
3. मंगल : 7 अप्रैल को मंगल ग्रह मकर राशि ने निकलकर कुंभ राशि में गोचर करेगा, जहां वह 17 मई तक रहेगा।
4. बुध : 8 अप्रैल को बुध का मीन राशि से मेष राशि में गोचर होगा, जहां वह 25 अप्रैल 2022 तक रहेगा।
5. शुक्र : शुक्र ग्रह इस वक्त मकर राशि में और 31 मार्च को कुंभ राशि में प्रवेश करेगा। इसके बाद कुंभ राशि से निकलकर मीन में 27 अप्रैल 2022 को प्रवेश करेगा।
6. बृहस्पति : बृहस्पति इस वर्ष 13 अप्रैल 2022 को शनि शासित राशि मकर से अपनी स्वराशि मीन में गोचर करेगा। हालांकि साल के शुरुआती महीने में बृहस्पति कुंभ राशि में मौजूद रहेंगे। यह ग्रह करीब 1 वर्ष तक एक ही राशि में गोचर करता है।
7. शनि : बृहस्पति के बाद 29 अप्रैल को शनि मकर राशि से निकलकर कुंभ में गोचर करेगा। परंतु 12 जुलाई 2022 को शनि वक्री होकर फिर से मकर राशि में प्रवेश करेगा। शनि ग्रह हर ढाई साल के अंतराल पर एक राशि से दूसरी राशि में जाता है।
8. राहु : करीब 18 साल 7 महीने बाद राहु मेष राशि में प्रवेश करेगा। अगले वर्ष राहु 12 अप्रैल 2022 को वृषभ राशि से मेष राशि में गोचर करेगा। राहु हमेशा वक्री चाल ही चलता है। वक्री अर्थात उल्टी चाल में ही वह भ्रमण करता है। शनि ग्रह की तरह ही राहु बहुत धीमी गति से भ्रमण करता है।
9. केतु : राहु और केतु एक साथ किसी भी राशि में परिवर्तन करते हैं। इस वर्ष केतु वृश्चिक राशि से 12 अप्रैल, 2022 को तुला राशि में गोचर करेगा।
उल्लेखनीय है कि बृहस्पति ग्रह एक राशि में करीब 13 माह भ्रमण करते हैं। शनि करीब ढाई साल और राहु-केतु 18 माह तक एक राशि में रहते हैं। मंगल ग्रह 45 दिन तक और बुध, शुक्र, सूर्य ग्रह करीब एक माह तक एक राशि में गोचर करते हैं। इस दौरान गुरु और शनि की चाल बदलती रहती है। अर्थात वे वक्री और मार्गी होते रहते हैं जिसके चलते एक इनकी एक राशि में रुकने की अवधि कम या ज्यादा हो सकती है।
असर : सभी 9 ग्रहों के एक ही माह में राशि बदलने से ज्योतिष नजरिए से ये माह बहुत खास हो गया है। ग्रहों के इस परिवर्तन से माना जा रहा है कि जहां कोरोना संक्रमण से सभी को राहत मिलेगी वहीं खेती किसानी का काम कर रहे लोगों को लाभ मिलेगी। हालांकि इस दौरान महंगाई अपने चरम पर होगी। व्यवसाय में गति आएगी और रत्नों का काम कर रहे व्यापार में लाभ होगा।
धार्मिक गतिविधियां बढ़ेगी। राजनीतिक दृष्टि से यह माह उथल पुथल भरा रहेगा। जनता में विद्रोह की भावना रहेगी। देश दुनिया में सत्ता में बदलाव होंगे। पहाड़ों पर बर्फ तेजी से पिघलेगी और मैदानों में गर्मी बढ़ जाएगी। आंधी और तूफान आएंगे। धरती के भीतर भूंकप होगा। नदियों के जल स्तर में परिवर्तन होगा और समुद्र में गतिविधियां बढ़ जाएगी। दो देशों के बीच तनाव और संघर्ष के हालात पैदा होंगे।
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