27 सितंबर 2018 की दोपहर 12 बजकर 15 मिनट पर भगवान श्री सूर्यदेव ने हस्त नक्षत्र में प्रवेश कर लिया हैं, और सूर्य 10 अक्टूबर 2018 की रात्रि 01 बजकर 13 मिनट तक यहीं पर रहेंगे । ज्योतिषाचार्य पं. श्याम बिहारी दुबे (हरिद्वार) के अनुसार थोड़े-थोड़े दिनों के अंतराल पर सूर्य एक नक्षत्र से दूसरे नक्षत्र में प्रवेश करता हैं, जिसका असर पृथ्वी वासियों पर भी पड़ता हैं । सूर्यदेव के इस स्थिति बदलाव से अनेक नामाक्षर वाले लोगों और विभिन्न नक्षत्र वाले लोगों पर प्रभाव पड़ सकता है । जाने आखिर वे कौन से नाम है जिनके उपर क्या क्या असर होने वाली हैं । शुभ और अशुभ फलों से बचने के लिये इन उपयों को जरूर करें ।
पं. श्याम बिहारी दुबे ने बताया कि ऐसे जातक जिनका जन्म हस्त, चित्रा या स्वाति नक्षत्र में हुआ हो और जिनके नाम का पहला अक्षर प, ठ, र या त हो, ऐसे जातक 10 अक्टूबर 2018 तक अग्नि से संबंधित चीज़ों बचकर रहे, इलैक्ट्रिकल चीज़ों का भी संभलकर ही उपयोग करें । अगर नया घर बनाने की सोच रहे हैं, तो 10 अक्टूबर तक के लिये कुछ भी न करे, एवं सूर्यदेव की अशुभ स्थिति से बचने के लिये और शुभ स्थिति सुनिश्चित करने के लिये अपने घर की खिड़की, दरवाजे खोलकर रखें, ताकि घर में सूर्यदेव का उचित प्रकाश बना रहे ।
विशाखा, अनुराधा, ज्येष्ठा या मूल नक्षत्र में पैदा हुए जातक जिनका नाम त, य, न या भ अक्षर से शुरू होता हो, वे 10 अक्टूबर तक अनफिट महसूस करेंगे, सभी काम धीमी गति से होंगे, जीवन की गति को तेज करने के लिये रात को सोते समय अपने सिरहाने पर पांच बादाम रखकर सोएं और अगले दिन उन बादाम को किसी मन्दिर या धर्मस्थल पर दान कर दें ।
पूर्वाषाढ़ा, उत्तराषाढ़ा, श्रवण या धनिष्ठा नक्षत्र में जन्म लेने वाले ऐसे जातक जिनके नाम का पहला अक्षर भ, ध, फ, ज, ख या ग हो, उन लोगों के जीवन में 10 अक्टूबर तक स्टेबिलिटी बनी रहेगी । इस दौरान आप जो भी काम करेंगे, वो लंबे समय के लिये स्थिर होंगे । स्थिर बने रहने के लिये घर में पीतल के बर्तन का इस्तेमाल करें ।
शतभिषा, पूर्वाभाद्रपद या उत्तराभाद्रपद नक्षत्र में होने वाले जातक जिनके नाम का पहला अक्षर ग, स, द या झ हो, इन्हें 10 अक्टूबर 2018 तक भरपूर धन लाभ के योग हैं । माता लक्ष्मी की कृपा सदैव बनाये रखने के लिये घर से बाहर निकलते समय या कोई खास काम शुरू करने से पहले थोड़ा मीठा खाकर, पानी पीएं या केवल पानी पीये ।
रेवती, अश्विनी, भरणी या कृतिका नक्षत्र में पैदा होने वाले जातक जिनका नाम द, च, ल, अ, ई, उ या ए अक्षर से शुरू होता हो, उन लोगों को अपने जीवन में 10 अक्टूबर तक अप्रतिम लाभ देखने को मिलेंगे, अचानक धन लाभ के अवसर मिलेंगे । बाजरा के दानों को पक्षियों खिलायें या रोटी बनाकर कुत्ते को डालें ।
जिन लोगों का जन्म रोहिणी, मृगशिरा या आर्द्रा नक्षत्र में हुआ हो और जिनके नाम का पहला अक्षर व, क, घ या छ हो, उन लोगों के जीवन में कुछ परेशानी आ सकती है। घर के मुखिया को कुछ कष्ट उठाना पड़ सकता है। अतः 10 अक्टूबर तक इस परेशानी से बचने के लिये और अपनी बेहतरी सुनिश्चित करने के लिए किसी जरूरतमंद को भोजन खिलाएं और चिड़ियों को दाना डालें ।
पुनर्वसु, पुष्य, आश्लेषा या मघा नक्षत्र में जन्म लेने वाले ऐसे लोग जिनका नाम क, ह, ड या म अक्षर से शुरू होता हो, इन्हें धन हानी हो सकती है । ऐसे जातक नियमित रुप से 10 अक्टूबर 2018 तक सूर्यदेव को अर्घ्य दे एवं सूर्य मंत्र - 'ऊँ घृणिः सूर्याय नमः ।' का जप करें ।
पूर्वाफाल्गुनी या उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र में पैदा होने वाले ऐसे लोग जिनका नाम म, ट या प अक्षर से शुरू होता हो, उन लोगों को आज से 10 अक्टूबर तक के बीच रोग या पीड़ा का सामना करना पड़ सकता है । इस स्थिति से बचने के लिये मन्दिर में सूखा नारियल या नारियल का तेल दान करें ।
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